रिहायशी इलाके में फिर पकड़े गए भारी मात्रा में अवैध विस्फोटक पटाखे — प्रशासन की लापरवाही से टल सकती है फिर एक बड़ी दुर्घटना!
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रिहायशी इलाके में फिर पकड़े गए भारी मात्रा में अवैध विस्फोटक पटाखे — प्रशासन की लापरवाही से टल सकती है फिर एक बड़ी दुर्घटना!
डेंजर भारत न्यूज़, दमोह।
दमोह शहर में दीपावली से पहले एक बार फिर रिहायशी इलाके के बीचों-बीच अवैध विस्फोटक पटाखों का भंडार पकड़ा गया है। यह वही दमोह है जहां दो साल पहले इसी तरह रखे गए पटाखों में हुए भीषण ब्लास्ट में 6 लोगों की मौत हो गई थी, लेकिन उस हादसे के बाद भी प्रशासन ने सबक नहीं सीखा।
न तो किसी अधिकारी की जिम्मेदारी तय की गई, न किसी पर कार्रवाई हुई, और न ही विभागीय जांच बिठाई गई। जबकि मध्यप्रदेश के हरदा में हुए ऐसे ही ब्लास्ट में तत्कालीन सरकार ने कई अधिकारियों को निलंबित कर दिया था।

लापरवाह प्रशासन, बेखौफ माफिया
दमोह प्रशासन की ढिलाई का ही नतीजा है कि आज फिर वही माफिया रिहायशी क्षेत्रों में विस्फोटक पटाखे रख रहे हैं।
सूत्रों के अनुसार, सिंगपुर क्षेत्र के 12 से 15 दुकानदार जिन्होंने अभी स्थाई लाइसेंस के लिए आवेदन किया है, वे शासन की गाइडलाइंस का पालन किए बिना ही गोदामों में अवैध रूप से पटाखों का स्टॉक जमा कर रहे हैं।

अगर ऐसे में प्रशासन इन्हें लाइसेंस जारी करता है, तो आने वाले दिनों में दमोह में फिर कोई बड़ा हादसा होना तय है — और इसकी जिम्मेदारी सीधे जिला प्रशासन की होगी।
मोरगंज-गल्ला मंडी में फिर बरामद हुए विस्फोटक
आज सिटी कोतवाली पुलिस ने मोरगंज गल्ला मंडी इलाके में गोलू सिंधी (चंद्र ट्रेडर्स, बारादुआरी वाला) के गोदाम से करीब 50 पेटी से अधिक अवैध पटाखे जब्त किए हैं। यह पटाखे गोलियों और बिस्किट की गोदाम की आड़ में छिपाकर रखे गए थे।
पुलिस ने मौके से एक ऑटो और एक पिकअप वाहन से विस्फोटक बरामद कर ले गए हैं ।

पटाखा माफिया पर बड़ा नेटवर्क — छोटे को पकड़, बड़े को बचा रहा सरगना!
सूत्रों का दावा है कि शहर के असली पटाखा माफिया सरगना अपने नेटवर्क को बचाने के लिए अब छोटे व्यापारियों को फंसवाने की साजिश रच रहा है, ताकि वह बाजार पर एकछत्र राज कर सके।

अगर पुलिस इस मामले में सख्ती से पूछताछ करे, तो कई और अवैध गोदामों का पर्दाफाश हो सकता है।
जनता में भय, प्रशासन पर सवाल
शहरवासियों का कहना है कि रिहायशी इलाकों में बारूद के ढेर खुलेआम रखे जा रहे हैं और पुलिस-प्रशासन मौन है।
लोग पूछ रहे हैं —
क्या प्रशासन किसी और ब्लास्ट का इंतजार कर रहा है?

क्या 6 लोगों की मौत भी अधिकारियों की नींद तोड़ने के लिए काफी नहीं थी?
प्रशासन के लिए चेतावनी
डेंजर भारत न्यूज़ प्रशासन से मांग करता है कि —
सभी रिहायशी इलाकों में बने पटाखा गोदामों की तत्काल जांच कराई जाए।

जिन दुकानदारों के पास लाइसेंस नहीं है, उनके खिलाफ विस्फोटक अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया जाए।
लाइसेंस जारी करने से पहले सुरक्षा मानकों की सख्त जांच की जाए।
क्योंकि अगर इस बार भी चूक हुई, तो दमोह में कोई भी हादसा केवल माफिया नहीं — प्रशासन की नाकामी कहलाएगा।
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